खबर का असर:- रातों रात तालाब चोरी मामले में DM का बड़ा एक्शन, तालाब को पूर्व के स्वरूप बहाल करने का दिया आदेश, भूमाफियाओं के बीच मचा हड़कंप
विश्वविद्यालय थाना क्षेत्र के वार्ड संख्या चार में रातों-रात सरकारी तालाब की चोरी मामले में दरभंगा के जिलाधिकारी राजीव रौशन ने बड़ा एक्शन लेते हुए सदर अंचलाधिकारी व उपर समाहर्ता को आदेश दिया है कि तालाब को दिनांक 19.12.2022 की तिथि के पूर्व के अनुरूप स्थिति / स्वरूप बहाल करना तत्काल सुनिश्चित करें। वही जिलाधिकारी के इस आदेश के बाद भू माफियाओं के बीच हड़कंप मच गया है. पढ़े पूरी खबर......
दरभंगा - विश्वविद्यालय थाना क्षेत्र के वार्ड संख्या चार में रातों-रात सरकारी तालाब की चोरी मामले में दरभंगा के जिलाधिकारी राजीव रौशन ने बड़ा एक्शन लेते हुए सदर अंचलाधिकारी व उपर समाहर्ता को आदेश दिया है कि तालाब को दिनांक 19.12.2022 की तिथि के पूर्व के अनुरूप स्थिति / स्वरूप बहाल करना तत्काल सुनिश्चित करें। वही जिलाधिकारी के इस आदेश के बाद भू माफियाओं के बीच हड़कंप मच गया है।
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आदेश पत्र में अंचल अधिकारी, सदर दरभंगा की ओर से, अपर समाहर्त्ता, दरभंगा के जमाबंदी रद्दीकरण वाद सं0-78/2022-23 अंचल अधिकारी, सदर दरभंगा बनाम राम कुमार महतो में दिनांक-19.12.2022 को पारित आदेश के विरूद्ध यह अपील वाद दायर किया गया है, का अवलोकन किया। जिसमे अपीलार्थी अंचल अधिकारी, सदर, दरभंगा की ओर से उपस्थित विद्वान सहायक सरकारी अधिवक्ता द्वारा बताया गया कि अपर समाहर्त्ता, दरभंगा द्वारा पारित आदेश में अंकित है कि मौजा कादिराबाद, थाना नं0-456, खाता सं0-54, खेसरा सं0-131, रकवा-0-4-16-0 किस्म-डबरा/गैरमजरूआ खास एवं खाता सं०-8, खेसरा सं0-132. रकवा-0-2-15-0 किस्म भीठ / बकब्जे मालिक सी०एस० खतियान में दर्ज है।
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वही पत्र में सहायक सरकारी अधिवक्ता का यह भी कथन है कि उक्त प्रश्नगत खेसरा सैरात पंजी में भी दर्ज है और मत्स्य विभाग द्वारा उक्त भूमि की सैरात बंदोवस्ती भी होती रही है। बिना विधिक आधार के सृजित जमाबंदी को रद्दीकरण हेतु अपर समाहर्त्ता, दरभंगा को प्रस्ताव अंचल अधिकारी, सदर, दरभंगा द्वारा भेजा गया, परन्तु, अपर समाहर्त्ता, दरभंगा द्वारा सम्यक रूप से विचार किये बिना एवं भूमि के लोक भूमि होने के संबंध में स्पष्ट तथ्यों को नजर अंदाज करते हुए आदेश दिनांक 19.12.2022 द्वारा अंचल अधिकारी, सदर दरभंगा का प्रस्ताव अस्वीकृत कर दिया गया है। अपर समाहर्ता, दरभंगा के आदेश के आलोक में वर्तमान में उक्त भूमि पर कई भू-माफियाओं द्वारा किस्म परिवर्तित करते हुए डबरा को भरकर स्वरूप को परिवर्तित कर कब्जा करने का प्रयास किया जा रहा है।
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वही आदेश में जिक्र है कि विद्वान सहायक सरकारी अधिवक्ता द्वारा विलंब क्षांत करते हुए वाद प्रतिगृहित करने एवं अपर समाहर्त्ता, दरभंगा के उक्त आदेश को स्थगित करते हुए अपर समाहर्त्ता, दरभंगा द्वारा पारित आदेश दिनांक -19.12.2022 की स्थिति अनुरूप स्थल पर डबरा का स्वरूप बरकरार रखने हेतु अंतरिम आदेश पारित करने का अनुरोध किया गया। साथ ही प्रश्नगत भूमि खेसरा सं0-131. रकवा-0-4-16-0 किस्म/रैयत- डबरा / गैरमजरूआ खास एवं खाता सं०-8, खेसरा सं0-132, रकवा-0-2-15-0 किस्म / रैयत-भीठ / बकब्जे मालिक विवरणी जो सैरात सं0-13 के रूप में दर्ज है।
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प्रश्नगत भूमि की पूर्व में बन्दोवस्ती के तथ्य एवं स्थल पर तनाव के मद्देनजर इस न्यायालय द्वारा सम्यक रूप से विचार करते हुए अपर समाहर्त्ता, दरभंगा द्वारा जमाबंदी रद्दीकरण वाद सं0-78/2022-23 में दिनांक -19.12.2022 को पारित आदेश एवं उसके संदर्भ में किसी भी प्रकार के क्रियान्वयन पर अंतरिम रूप से रोक लगाया जाता है। साथ ही अंचल अधिकारी, सदर, दरभंगा तथा भूमि सुधार उप समाहर्ता, सदर, दरभंगा को निदेश दिया जाता है कि प्रश्नगत भूमि का स्वरूप अपर समाहर्त्ता, दरभंगा द्वारा पारित आदेश दिनांक-19.12.2022 की तिथि के पूर्व के अनुरूप स्थिति / स्वरूप बहाल करना तत्काल सुनिश्चित करें।